Thursday 10 October 2013

ब\'चों के सर्वांगीण विकास के लिए भौतिक शिक्षा के साथ नैतिक शिक्षा भी जरूरी है















 
भास्कर न्यूज-!-सुनाम ((संगरूर))
ब\'चों को नैतिक शिक्षा का ज्ञान देने के लिए यहां के मॉडल बेसिक स्कूल में नैतिक शिक्षा का महत्व समागम का आयोजन किया गया। जिसमें ब्रह्मकुमारी इश्वरीय विश्वविद्यालय माउंट आबू से आए राजयोगी भगवान भाई ने छात्रों को नैतिक शिक्षा का महत्व समझाया। उन्होंने कहा कि ब\'चों के सर्वांगीण विकास के लिए भौतिक शिक्षा के साथ नैतिक शिक्षा भी जरूरी है। नैतिक शिक्षा के चलते ही ब\'चों का सर्वपक्षीय विकास संभव है। लिहाजा ब\'चों के लिए नैतिक मूल्यों को जीवन में धारण करना चाहिए। जो शिक्षा ब\'चों को अंधकार से प्रकाश की तरफ और असत्य से सत्य की तरफ लेकर जाए वही सही मायनों में शिक्षा है।
उन्होंने कहा कि गुणवान व चरित्रवान ब\'चे ही देश की सबसे कीमती संपत्ति हैं। देश की प्राचीन सांस्कृतिक आध्यात्मिकता की रही है। इसी कारण पहले मानव का व्यवहार आज से बहुत बेहतर था।
वर्तमान समय में कुसंग, सिनेमा, व्यसन और फैशन से युवा पीढ़ी भटक रही है लेकिन नैतिक व आध्यात्मिक ज्ञान युवा पीढ़ी को नई दिशा दे सकता है। हमारे मूल्य ही हमारी विरासत है। मानव की सोच ही उसके कर्मों का आधार है। लिहाजा सभी अपने कर्म पर ध्यान दें। सकारात्मक चिंतन से जीवन की समस्याओं का समाधान होता है। शिक्षा का मूल उद्देश्य चरित्रवान व गुणवान बनाना है। समागम को बीके मीरा बहन, डॉ. सत्तपाल सिंगला, भारत भूषण, प्रिंसिपल आशा रानी आदि ने संबोधित किया।

No comments:

Post a Comment